गोपेश्वर (चमोली)। चमोली जिले के कर्णप्रयाग महाविद्यालय में सोमवार से शिक्षकों का पांच दिवसीय समाचान लेखन की कला का प्रशिक्षण शुरू हो गया है। जिसमें महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. केएल तलवाड ने शिक्षकों समाचार लिखे जाने के टिप्स दिए।

महाविद्यालय में आयोजित प्रशिक्षण के प्रथम दिवस प्राचार्य ने बताया कि घटनाओं, तथ्यों और विचारों की सामयिक रिपोर्ट समाचार है, जिसमें पर्याप्त लोगों की रुचि हो। समाचार में इंट्रो मुख्य तथ्य को उद्घाटित करता है। इसे प्रभावी तथा आकर्षक होना चाहिए। इंट्रो में ऐसी क्षमता होनी चाहिए कि उसमें समाचार की आत्मा के दर्शन हों। महाविद्यालय में आयोजित गतिविधियों की प्रेस रिलीज को उचित ढंग से लिखकर या टाईप करके ससमय प्रेषित किया  जाना चाहिए। अनेक शब्द ऐसे होते हैं जिन्हें समाचार लेखन में प्रयोग नहीं करना चाहिए। इस संबंध में अनेक उदाहरणों के माध्यम से व्याख्या की गई। समाचार तत्व के बिना समाचार निरर्थक और प्रकाशन योग्य नहीं रहता है। प्रशिक्षण कार्यक्रम में डा.अखिलेश कुकरेती, डा.इन्द्रेश पांडेय, मीडिया प्रभारी डा. आरसी भट्ट, डा. चन्द्रावती टम्टा, डा.हरीश बहुगुणा, डा.कीर्तिराम डंगवाल, डा.हिना नौटियाल, डा.चंद्रमोहन जनस्वाण, डा.नेहा तिवारी पाण्डेय, डा.विजय कुमार ने प्रतिभाग किया।

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