गोपेश्वर (चमोली)। चमोली जिले के जिला पंचायत सदस्यों ने जिला नियोजन समिति का गठन न किये जाने पर नाराजगी व्यक्त की है। सदस्यों का कहना है लोकतांत्रिक प्रक्रिया में जिला नियोजन समिति का गठन न करना निर्वाचित सदस्यों के अधिकारों का अतिक्रमण हैं। उन्होंने बताया कि मामले में सदस्यों की ओर से प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और मुख्य निर्वाचन आयुक्त से भी डीपीसी गठन की मांग की गई। लेकिन वर्तमान तक मामले में कोई कार्रवाई नहीं की गई है।

जिला पंचायत सदस्य अवतार सिंह पुंडीर और देवी जोशी का कहना है कि राज्य मे डीपीसी गठन को लेकर उच्च न्यायालय की ओर से जून माह में कोविड संक्रमण कम होने के साथ ही डीपीसी गठन करने के आदेश दिये गये थे। वहीं बीते नवम्बर माह में राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से डीपीसी गठन के लिये निर्देश दिये गये हैं। लेकिन जिला स्तर पर डीपीसी गठन को लेकर कोई कार्रवाई नहीं हो पाई है। ऐसे में जिले में जिला प्रशासन की ओर से मनमाने तरीके से जिला योजना के कार्यों का चयन और धनावंट किया जा रहा है। जिससे निर्वाचित सदस्यों के अधिकारों का खुला हनन और अतिक्रमण किया जा रहा है। डीपीसी गठन को लेकर जहां जिले में कोविड को लेकर चुनाव न होने की बात कही जा रही है। जबकि देश के विभिन्न हिस्सों में बड़े चुनावों कोविड के प्रतिबंधों के बावजूद चुनावों का आयोजन किया जा रहा है। इस मौके पर जिला पंचायत सदस्य भागीरथी रावत, विक्रम सिंह बत्र्वाल, ममता देवी, लक्ष्मण सिंह बिष्ट आदि मौजूद थे।

 

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