गोपेश्वर (चमोली)। मुख्यमंत्री त्वरित समाधान सेवा कार्यक्रम (सीएम क्यूआरटी) के तहत शनिवार को चमोली जिले के प्राथमिक विद्यालय देवर-खडोरा में आयोजित शिविर में जिलाधिकारी चमोली स्वाति एस भदौरिया ने फरियादियों की समस्याएं सुनी। जिसमें 39 में से 34 शिकायतों का मौके पर निस्तारण किया गया और शेष शिकायतों के शीघ्र निस्तारण के लिए अधिकारियों को निर्देशित किया गया। जिलाधिकारी ने कहा कि जनता की शिकायतों के निस्तारण में किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नही की जाएगी।

क्षेत्रवासियों ने शिविर में सड़क, शिक्षा, पेयजल, क्षतिग्रस्त पैदल रास्ते व पुलिया, आवास, शौचालय, गौशाला, पंचायत भवन निर्माण एवं आर्थिक सहायता से जुड़ी समस्याएं जिलाधिकारी के समक्ष रखी। जिनका जिलाधिकारी ने मौके पर ही समाधान किया। कुछ गांव तोकों में पेयजल आपूर्ति की समस्या पर जिलाधिकारी ने बताया कि जल जीवन मिशन के तहत हर घर नल से जल सरकार की योजना के तहत प्रत्येक परिवार को पेयजल कनेक्शन दिया जा रहा है। इस योजना के तहत कोई भी परिवार पेयजल से वंचित नही रहेगा चाहे उसका नाम पोर्टल में दर्ज है या नही। सभी को पानी मिलेगा। देवर खडोरा गांव के नीचे बने तालाब से पानी निकासी की समस्या पर जिलाधिकारी ने निकासी के लिए नाली की सफाई कराने तथा यहां पर मत्स्य पालन के लिए तालाब निर्माण का प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिए। देवर खडोरा से पनार एवं तोली ताल तक पैदल मार्ग निर्माण की मांग पर जिलाधिकारी ने वन विभाग को शीघ्र प्रस्ताव उपलब्ध कराने की बात कही। उन्होंने कहा कि इसके लिए धनराशि की व्यवस्था भी की जाएगी। डुग्री मोटर मार्ग में डामरीकरण क्षतिग्रस्त होने की शिकायत पर जिलाधिकारी ने लोनिवि को मोटर मार्ग पर 10 फरवरी तक नाली निर्माण कार्य पूरा कराने के निर्देश दिए।

पीएम आवास से जुड़ी शिकायतों का समाधान करते हुए जिलाधिकारी ने बताया कि आवास के लिए जिन लाभार्थियों का नाम सूची में है भारत सरकार से धनराशि मिलने पर उनकों आवंटित की जाएगी और जो पात्र लोग छूट गए है उनका नाम भी सूची में जोड़ा जाएगा। वही नैल कुडाऊ में अनाथ बच्चे की परवरिश की समस्या पर जिलाधिकारी ने बच्चों की पेंशन लगाते हुए परवरिश करने वाले परिजनों को देने को कहा। राइका कुजौं मैकोट में साइंस लैब एवं लब्रोटरी उपकरण के लिए जिला शिक्षा अधिकारी को प्रस्ताव उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। इस दौरान पैदल रास्ते, क्षतिग्रस्त पुलिया निर्माण, पंचायत भवन निर्माण, आर्थिक सहायता से जुड़ी समस्याओं का भी निराकरण किया गया। जिलाधिकारी ने ग्राम प्रधानों को गांव क्षेत्रों में छोटी-छोटी समस्याओं को दूर करने के लिए 14वें तथा 15वें वित्त की धनराशि के साथ मनरेगा से कन्वर्जेन्स कर कार्य करने पर जोर दिया। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी हंसादत्त पांडे, सीएमक्यूआरटी के नोडल अधिकारी अर्षित गोदवाल, डीडीओ सुमन बिष्ट आदि मौजूद थे।

 

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