गोपेश्वर (चमोली)। चमोली जिले की दुरूह निजमुला घाटी में आजादी के बाद पहली बार बैंक शाखा का संचालन शुरू किया जा रहा है। जिसके बाद निजमुला घाटी के ग्रामीणों को बैंकिंग सेवाओं के लिये 18 किमी की दूरी नहीं नापनी होगी। घाटी के ब्यारा गांव में चमोली जिला सहकारी बैंक (डीसीबी) की ओर से आगामी 2 दिसम्बर से बैंक शाखा का संचालन शुरु किया जा रहा है। बैंक शाखा का संचालन शुरू करने के लिए डीसीबी की ओर से यहां सभी तैयारियां पूरी कर ली गई है।
बता दें, निजमुला घाटी भौगोलिक विषमताओं के साथ ही स्वास्थ्य, सड़क जैसी मूलभूत सुविधाओं के लिहाज से भी अन्य क्षेत्रों से पिछड़ी है। राज्य निर्माण के बाद भी क्षेत्र में विकास की गति का आलम यह है कि आजादी के बाद वर्तमान तक घाटी के ग्रामीण को बैंकिंग सेवा के लिये जहां 18 किमी दूर चमोली आना पड़ता था। वहीं घाटी के मोली, मानुरा, हडुंग, तड़ागताल, धारकुमाला, पगना, दुर्मी, ईराणी गांवों के ग्रामीण आज भी यातायात सुविधा के लिये मीलों की दूरी पैदल नापते हैं। घाटी में स्वास्थ्य सेवाओं के नाम पर दो एएनएम सेंटर और एक आयुर्वेदिक चिकित्सालय मौजूद है। ऐसे में घाटी में डीसीबी की ओर से बैंकिंग सेवा शुरु किया जाने से ग्रामीणों में उत्साह का माहौल है। ग्राम प्रधान ईराणी मोहन सिंह नेगी और प्रेम सिंह का कहना है घाटी में बैंक खुलने से मनरेगा और अन्य सरकारी योजनाओं के भुगतान की ग्रामीणों को घाटी में सुविधा मिल सकेगी।
निजमूला घाटी के ग्रामीणों की ओर से क्षेत्र में बैंक सुविधा न होने से हो रही दिक्कतों को देखते हुए सहकारी बैंक की शाखा का संचालन शुरु किया गया है। भविष्य में जिले के अन्य ग्रामीण क्षेत्रों में भी बैंकिंग सेवा का विस्तार किया जाएगा।
गजेंद्र रावत, अध्यक्ष, चमोली जिला सहकारी बैंक, चमोली।