गोपेश्वर (चमोली)। जहां एक ओर रोजगार की तलाश में युवा पहाड़ से पलायन कर मैदान की ओर रूख कर रहे है वहीं पीपलकोटी के एक 28 वर्षीय युवा सुमन राणा ने गांव में रह कर ही सब्जी उत्पादन कर स्वरोजगार की दिशा में कार्य करते हुए एक मिशाल कायम की है।
मूल रूप से चमोली जिले के पीपलकोटी के भेलिखेत के रहने वाले सुमन राणा ने स्नातक की पढ़ाई की है। रोजगार पाने के लिए इधर-उधर हाथ पांव मारे पर सफलता नहीं मिली। इसी बीच कोरोना संक्रमण के चलते लाॅक डाउन हो गया और वह घर पर ही कुछ करने की सोचने लगा। उसने पीपलकोटी बाजार का सर्वे किया और पाया कि यहां पर ताजा सब्जियों की मांग बहुत ज्यादा है लेकिन उस हिसाब से दुकानदार पूर्ति नहीं कर पा रहे है। तो सुमन ने इस दिशा में कार्य करना आरंभ किया। उसने उद्यान विभाग से पाॅलीहाउस लेकर उसमें पहले टमाटर के पौधे लगाये। कुछ समय पर उसे एक अच्छी फसल तैयार हो गयी और उसने उसे बाजार में बेच डाला जिससे उसे 30 से 40 हजार की आमदानी हुई और अभी भी उसके पास 50 से 60 हजार के टमाटर खेतों में तैयार हो चुका है जिसे बाजार भेजना बाकी है। उन्होंने टमाटर की खेती के बाद अब अन्य सब्जियों को उगाना भी शुरू कर दिया है जिसमें फ्रासबीनस, शिमला मिर्च, बेंगन व अन्य सब्जी है। जो तैयार हो रही है।
सुमन कहते हैं कि सरकारी नौकरी में एक नियत वेतन मिलता है लेकिन स्वरोजगार करने पर आप जितना अधिक मेहनत करोगे उतना ही अधिक आप आमदानी पा सकते हो। उन्होंने कहा कि यदि युवा बेरोजगार जो रोजगार की तलाश में गांव के शहर की ओर पलायन कर वे अपने घर पर रह कर ही स्वरोजगार करे तो स्वयं से आर्थिक रूप से ठीक हो सकते गांव के अन्य युवाओ को भी रोजगार देकर उनकी आर्थिकी सुधार सकते है।