गोपेश्वर (चमोली)। चमोली जिला मुख्यालय को यातयात से जोड़ने वाली चमोली-गोपेश्वर सड़क लोनिवि की एनएच इकाई की लापरवाही से खतरनाक बनी हुई है। जहां एक ओर सड़क पर बने सीवर के चैम्बर दुर्घटनाओं को न्यौता दे रहे हैं, वहीं नालियों का पानी सड़क पर बहने से कई स्थानों पर सड़क रपटीली बनी हुई है। स्थानीय लोगों ने मामले में जिला प्रशासन से सड़क का सुधारीकरण करने की मांग उठाई है।
बता दें तक चमोली-गोपेश्वर सड़क जिला मुख्यालय गोपेश्वर को जोड़ने वाला मुख्य मार्ग है, वहीं चार धाम यात्रा के दौरान केदारनाथ के दर्शन कर तीर्थयात्री इस मार्ग से बदरीनाथ के दर्शनों के लिये जाते हैं। लेकिन यहां विभागीय अधिकारियों की लापरवाही से सड़क पर बने सीवर चैम्बर और बहता पानी दुर्घटनाओं को न्यौता दे रह है। इस सड़क से ही आये दिन जन प्रतिनिधि और जिला प्रशासन के आला अधिकारी भी आवाजाही करते हैं। बावजूद इसके सड़क का सुधारीकरण कार्य नहीं हो पाया है। ऐसे में दूरस्थ क्षेत्रों में सड़कों के रख-रखाव को लेकर विभागीय अधिकारियों की संजीदगी का अंदाजा लगाय जा सकता है। स्थानीय निवासी पीयूष विश्नोई, भूपेंद्र सिंह और पवन राठौर का कहना है कि कई बार मामले में उच्चाधिकारियों को अवगत करने के बाद भी स्थिति जस की तस बनी हुई है।
चमोली-गोपेश्वर सड़क पर पेयजल निगम (गंगा) की ओर से आवश्यकता से अधीक सीवर चैम्बरों की ऊंचाई बढाई गई है। जिसके लिये नोटिस दिया गया है। वहीं बारिश के चलते डामरीकरण कार्य रोका गया है। मौसम साफ होते ही डामरीकरण कार्य किया जाएगा। साथ नालियों के सुधारीकरण कार्य को लेकर जल संस्थान को नालियों से गुजर रही पेयजल लाइनों को हटाने के लिये नोटिस दिया गया है।
जीतेंद्र त्रिपाठी, अधिशासी अभियंता, लोनिवि एनएच इकाई, रुद्रप्रयाग।